मंत्री पटवारी की अपील अतिथि विद्वान धैर्य रखें मप्र सरकार बना रही ठोस व्यवस्था
इंदौर। खेल एवं युवा कल्याण एवं उच्च शिक्षा मंत्री जीतू पटवारी ने अतिथि विद्वानों के धरना प्रदर्शन को लेकर कहा कि अतिथि विद्वानों के हितों एवं अधिकारों की रक्षा के लिये मध्यप्रदेश सरकार कटीबद्ध है। उन्होंने अतिथि विद्वानों से अनुरोध किया है कि वे धैर्य रखें एवं धरने को समाप्त करें क्योंकि सरकार द्वारा इस संबंध में ठोस व्यवस्था बनाई जा रही है। उक्त जानकारी मंत्री पटवारी ने गुरुवार को पत्रकारों से बातचीत में दी।
मीडिया से रूबरू होते हुए उच्च शिक्षा मंत्री पटवारी ने सरकार द्वारा किये जा रहे प्रयासों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने भोपाल में पिछले 72 दिनों से चल रहे धरने एवं बुधवार के दिन एक महिला अतिथि विद्वान के द्वारा मुंडन कराने की घटना को लेकर दुख एवं सरकार की संवेदनशीलता व्यक्त की। उन्होंने बताया कि पिछले 30 सालों से देश में लगातार शिक्षा के मापदण्ड बढ़ते जा रहे हैं, जबकि मध्यप्रदेश तुलनात्मक रूप से पिछड़ता जा रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन दशकों में मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग की भर्ती एवं परीक्षा नियमित तौर पर आयोजित न होने के कारण योग्य व्यक्ति सरकार द्वारा बताये हुये रास्ते अर्थात अतिथि विद्ववान के रूप में कार्य करने लगे। इन्हीं कमियों को दूर करते हुये आगामी पीएससी भर्ती परीक्षा में अतिथि विद्वानों के लिये अतिरिक्त 20 अंक एवं आयु सीमा का बंधन नहीं रखा गया है। उन्होंने यह भी कहा कि नियमित करने की प्रक्रिया संवैधानिक तथा नियमानुसार होगी।
मंत्री पटवारी ने बताया कि जहां 4900 अतिथि विद्वान कार्य कर रहे थे, वहां केवल 1900 प्रभावित हुये हैं। जिसके लिये 1570 नई भर्ती निकाली गई एवं 500 लोगों ने कार्य करना शुरू किया। इसके अतिरिक्त लगभग एक हजार अन्य भर्ती भी निकाला जाना प्रस्तावित है। पटवारी ने कहा कि सरकार का आशय स्पष्ठ तौर पर अतिथि विद्वानों को यथोचित सम्मान देना है।
कॉलेज में भी पीटीएम शुरू करने का विचार
मंत्री पटवारी ने बताया कि भविष्य में कॉलेज में भी विद्यालयों जैसी पेरेंट टीचर मीटिंग की व्यवस्था बनाई जा सकती है। इसका उद्देश्य शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार करना एवं छात्र एवं शिक्षकों दोनों को अपने कर्तव्य के प्रति जिम्मेदार बनाना है।