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इंदौर। पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ और पूर्व मुख्यमंत्री व राज्यसभा सांसद माननीय दिग्विजय सिंह रविवार को इंदौर शहर महिला कांग्रेस के कार्यक्रम में शामिल हुए। महिलाओं के प्रति दृष्टिाकोण में बदलाव की अहमियत विषय पर हुए कार्यक्रम में वक्ताओं के उद्बोधन के बाद सवालों का सिलसिला भी चला, जिसमें एक प्रश्न के उत्तर में कमलनाथ ने कहा कि यह सही है कि मध्यप्रदेश में महिला उद्यमियों के लिए कोई योजना नहीं है, लेकिन हमारी सरकार आती है तो हम ये वादा करते हैं कि पूरे देश में महिला उधमियों को लेकर मध्यप्रदेश सबसे बेहतर राज्य होगा।
एक प्रश्न में पूछा गया कि अगर कांग्रेस की सरकार आती है तो किस तरीके से महिलाओं को बढ़ावा दिया जाएगा? इस पर कमलनाथ ने कहा कि मैं आपके सवाल को दुरुस्त कर करना चाहता हूं, अगर मगर नहीं प्रदेश में हर हाल में कांग्रेस की ही सरकार बनेगी। उन्होंने कहा कि अगर हम टीवी चलाएं तो सबसे ज्यादा महिलाएं दिखती हैं, लेकिन प्रिंट मीडिया में महिलाओं की कमी है। यह पहले की बात थी कि महिला केवल एडिटर या रिपोर्टर ही हो सकती थी, कैमरामैन नहीं हो सकती थी। अब सब चीजें बदल रही हैं। महिलाओं को खुद को अपनी सोच बदलना चाहिए, आपको किसी वोट बैंक के लिए इस्तेमाल होने से रोकना चाहिए। भाजपा को 18 साल बाद लाडली बहन की याद आई है, कहते हैं महिलाओं को नंगे पैर नहीं रहने देंगे, चप्पल देंगे छाते देंगे, यह सब क्या है?
कमलनाथ ने कहा कि मुझे घबराहट है कि मणिपुर कहां-कहां फैल सकता है, यह चिंता का विषय है! इस घटना ने देश को बदनाम किया है। इंटरनेशनल प्रेस ने इसे ज्यादा कवर किया है। हम अगर सोच रखें कि ‘लाडली बहना’ कह देने से लाडली बन जाएगी या बहन बन जाएगी तो वह न तो लाडली बनेगी और ना बहन ही बन पाएगी। महिला कांग्रेस की पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्षा शोभा ओझा से जब पूछा गया कि जब-जब महिलाओं की सुरक्षा का मुद्दा उठता है तो नाइट कल्चर और उनके पहनावे को लेकर प्रश्न उठाये जाते हैं?
इसके जवाब में शोभा ओझा ने कहा कि जब भी कोई रेप या गैंग रेप होता है तो यह कहा जाता है कि लड़की रात को निकल रही है, छोटे कपड़े पहनी हुई है लेकिन सच्चाई यह है कि पांच साल की बच्ची का रेप होने की घटनाएं होने के साथ ही सत्तर वर्षीय बुजुर्ग का भी रेप हो जाता है तो कहीं न कहीं इसके लिए समाज की सोच बदलने की आवश्यकता है। लड़की कहीं भी जाए, कैसे कपड़े पहने इसकी बजाय उसकी सुरक्षा मुख्य विषय होना चाहिए।
उन्होंने शासन-प्रशासन को लेकर कहा कि वह तब तक संवेदनशील नहीं हो सकता जब तक प्रदेश का मुखिया संवेदनशील नहीं होता है और जब तक यह नहीं होगा, कुछ नहीं हो सकता। तब तक सरकार और पुलिस संवेदनशील नहीं होगी तब तक महिला अत्याचार कम नहीं होगा।
कमलनाथ ने कहा कि जो आप महिला अत्याचार के मामले सुनते हैं। वह सिर्फ 10 प्रतिशत है, 90 प्रतिशत महिलाएं तो सामने आती ही नहीं है। एक प्रश्न के उत्तर में कन्हैया कुमार ने कहा कि मैं महिलाओं के बारे में बोलने का अधिकार नहीं रखता लेकिन यह हमारी जिम्मेदारी है। भारत में हिजाब पहनने को लेकर आंदोलन किया महिलाओं ने और जहां से हिजाब की शुरुआत हुई वहां पर हिजाब खोलने की बात भी महिलाओं ने ही की। चीजें पहले से बेहतर हुई है ना कि खराब हुई हैं। मणिपुर की घटना को लेकर कन्हैया कुमार ने कहा कि एक महिला राष्ट्रपति के होते हुए अगर ऐसी घटनाएं हो रही है तो क्यों हो रही है। कार्यक्रम में मप्र महिला कांग्रेस की अध्यक्ष विभाग पटेल भी उपस्थित थी।
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