पुलिस सुस्त अपराधी चुस्त
शैफाली गुप्ता भोपाल के कोलार पुलिस स्टेशन का भगवान ही मालिक हैं | वो तो एक बच्ची की किस्मत अच्छी थी की वह अपराधियों के हाथ लगने के बाद भी बच गई वरना उसे ढूंढ पाना कोलार पुलिस के बूते की बात नहीं थी | शनिवार की सुबह ९:३० बाजे कोलार के राजहार्ष कालोनी मे अपने घर के बाहर खेल रही तीन साल की एक मासूम बच्ची सोनिया पिता राजकुमार को एक अज्ञात बदमाश उठा कर ले गया , बच्ची के परिवार वालों ने पहले तो उसकी आस-पास खोजबीन की और जब बच्ची कही नहीं मिली तो वो कोलार पुलिस की शरण में गए । बच्ची के गायब होने को लेकर पुलिस का रवईया भी लापरबाही जनक रहा , पुलिस अफसर पीड़ित परिवार से यही कहते रही की बच्ची को आस-पास खोज लो मिल जाएगी । लेकिन पीड़ित परिवार के लोगो ने दबाव बनाया तब जाकर पुलिस सक्रिय हुई । अज्ञात बदमाश बच्ची को लेकर जब कस्टम कालोनी से गुजर रहा था तो बच्ची ने जोर-जोर से रोना शुरू कर दिया , आस-पास के लोगो का ध्यान जब इस पर गया तो वह बदमाश बच्ची को वहीँ छोड़कर भाग गया । इसके बाद कस्टम कालोनी के निवासियों ने अज्ञात बच्ची के मिलने की सूचना पुलिस को दी । इस घटना के बाद कोलार थाने के इंचार्ज अखिलेश मिश्रा खुद की पीठ थपथपाते नजर आये । मिश्रा का दावा हैं पुलिस के दबाव के चलते बदमाश बच्ची को छोड़ कर भाग गए । लेकिन अखिलेश मिश्रा के पास इस बात का कोई जवाब नहीं हैं की पुलिस का इतना ही दबाव था तो पुलिस अपराधी को पकड़ने में नाकाम क्यों है ? पुलिस के पास इस बात का भी कोई जवाब नहीं हैं कि पुलिस व्यवस्था दुरुस्त हैं तो अपराधियों के हौसले इतने कैसे बुलंद हैं की वे बच्ची को उसके घर से उठा ले गए ।मासूम बच्ची को अज्ञात अपहरणकर्ता ने दोपहर १:३० बजे कस्टम कालोनी में छोड़ा ,बच्ची पांच घंटे तक कोलार इलाके में ही रही लेकिन पुलिस उसे ढूंढ न सकी । कोलार पुलिस के हालात देखकर तो यही लगता हैं कि पुलिस जितनी सुस्त हैं अपराधी उतने ही चुस्त हैं ।