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बड़वानी। बड़वानी की विशेष न्यायाधीश (पाक्सो) सारिका गिरी शर्मा की अदालत ने अपने फैसले मे नाबालिग किशोरी के साथ दुष्कर्म करने के आरोप में आरोपित को दोषी ठहराते हुए धारा 376(1) भादवि में 10 वर्ष का कठोर कारावास एवं एक हजार रुपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया है। मामले में अभियोजन की ओर से पैरवी अतिरिक्त जिला अभियोजन अधिकारी दुष्यंतसिंह रावत द्वारा की गई।
अभियोजन मीडिया प्रभारी कीर्ति चौहान ने गुरुवार को मामले की जानकारी देते हुए बताया कि 12 फरवरी 2023 को फरियादी ने अपनी छोटी लड़की (अभियोक्त्री) को शाम के समय उसकी बहन के पास जिला अस्पताल जाने के लिए बस में बैठाया था। करीब शाम 6 बजे फरियादी को उसकी दूसरी लड़की ने फोन कर बताया कि उसकी बहन/अभियोक्त्री उसके पास अस्पताल नहीं पहुंची। फिर फरियादी ने अभियोक्त्री की तलाश बस स्टेशन व अस्पताल के आसपास व रिश्तेदारों में किया, लेकिन लड़की अभियोक्त्री का कोई पता नहीं चला। इसके बाद फरियादी ने उक्त घटना की रिपोर्ट थाने पर दर्ज करवायी।
पुलिस ने अनुसंधान के दौरान आरोपित विजय पुत्र मडिया निवासी कसरावद को गिरफ्तार किया और उसके पास से अभियोक्त्री को दस्तयाब किया। तब ज्ञात हुआ कि आरोपित अभियोक्त्री को शादी का झांसा देकर बहला फुसलाकर नर्मदा नदी तरफ खेत में ले गया था और उसके साथ उसकी मर्जी के विरूद्ध दुष्कर्म किया। पुलिस ने प्रकरण की विवेचना पूर्ण कर न्यायालय के समक्ष अभियोग पत्र प्रस्तुत किया। अदालत ने आरोपित विजय पुत्र मडिया निवासी कसरावद को धारा 376(1) भादवि में 10 वर्ष का कठोर कारावास एवं 1000 रुपये अर्थदण्ड से दण्डित किया।
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