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क्राइम ब्रांच ने रेलवे में नौकरी दिलाने का झांसा देकर 15 बेरोजगारों से 35 लाख रुपए की ठगी करने वाले गैंग के सरगना समेत दो जालसाजों को गिरफ्तार किया है। सरगना खुद को रेलवे रिक्रूटमेन्ट बोर्ड का अधिकारी बताकर ठगी करता था। उसने डीआरएम भोपाल की फर्जी सील के साथ उनके साइन कर बेरोजगारों को फर्जी ज्वाइनिंग लेटर दे दिया था। इतना ही नहीं पीड़ितों का भरोसा जीतने के लिए रेलवे स्टेशन भोपाल का ट्रेनिंग के नाम पर बिजिट भी करा चुका है। घटना के बाद से आरोपी भोपाल छोड़कर कोटा, राजस्थान में एफएनबी बेकरी में जॉब करने लगा था। मामले में सरगना के सहयोगी को भी गिरप्तार किया है। एडिशनल डीसीपी क्राइम ब्रांच शैलेन्द्र सिंह चौहान ने बताया कि श्रीनाथ पुरम कॉलोनी कोटा, राजस्थान निवासी नीरज नेल्सन बेथे पिता नेमुअल जोसफ बेथे (33) को गिरफ्तार किया गया है। वह फाइनेंस का काम करता है। आरोपी के पास से पुलिस ने एक लैपटाप, रेलवे अधिकारी की 2 सीलें बरामद की है। उसके साथ ही सरगना के सहयोगी संदीप दास को भी पुलिस ने पकड़ा है।जानकारी के मुताबिक इंदौर निवासी प्रीतपाल सिंह बाधवा ने क्राइम ब्रांच को लिखित शिकायत आवेदन दिया था। उन्होंने पुलिस को बताया कि वर्ष 2020 में एक परिचित संदीप दास ने मेरे पुत्र प्रतीक को नीरज नेल्सन ब्रेथे से मिलवाया। नीरज ने खुद को रेल्वे रिक्रूटमेन्ट बोर्ड अधिकारी बताया। वह मेरे पुत्र को रेलवे विभाग में नौकरी दिलवाने के नाम पर मुझसे 8 लाख 35 हजार रुपए ले लिए। इसके बाद मेरे बेटे के नाम से एक फर्जी अपॉइंमेन्ट लेटर जिस पर फर्जी हस्ताक्षर कर सील भी लगी हुई थी उसे दे दिया। सैलरी के लिए बैंक अकाउंट भी खुलवाया। इसमें 4 माह तक बेटे के अकाउंट में वेतन डाला गया। वर्ष 2021 में पता चला कि बेटे की नियुक्ति फर्जी है। जब नीरज नेल्सन बेथे को फर्जी नियुक्ति के बारे में बताया तो बोला कि आपके पैसे वापिस कर दूंगा। आप शिकायत न करें। लेकिन उसने पैसे वापस नहीं किए। नीरज नेल्सन उस समय रायल होम्स सुख सागर फेस -4 करोंद में रहता था।
Kolar News
4 May 2023
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