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भोपाल। अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त खजुराहो नृत्य महोत्सव केवल नृत्यों का जलसा भर नहीं, अपितु यह कलाओं और संस्कृति का समूर्ण उत्सव है। नृत्यों के अलावा यहां कला-संस्कृति के दूसरे रूपाकार भी संजोए गए हैं। एक बड़े डोम में "आर्ट मार्ट" के तहत चित्रकला और मूर्तिकला की पूरी की पूरी दुनिया आबाद है। आर्ट मार्ट के साथ सेरेमिक और पॉटरीज की प्रदर्शनी "समष्टि" खजुराहो नृत्य समारोह की भव्यता और गरिमा में चार चांद लगाती है। साथ ही कलाओं के बीच के अंतरसंवाद से भी रूबरू कराती है।
जनसम्पर्क अधिकारी अनुराग उइके ने शुक्रवार को बताया कि आर्ट मार्ट में नेपाल, दुबई श्रीलंका, जापान, चीन, उज्बेकिस्तान, बांग्लादेश, सिंगापुर, थाईलैंड और रोमानिया के कलाकारों के लैंड स्केप, माइंड स्केप के उत्कृष्ट नमूने पर्यटकों में अनूठा सौंदर्य-बोध जगाते हैं। आर्ट मार्ट इस बार भी जलरंगों पर केंद्रित है। जलरंगों में चित्रकारी मुश्किल काम है। इसमें रंग फैलते हैं इसलिए चित्रकार को बड़े सयंमित तरीके से रंग भरने होते हैं। यह पुरानी पद्धति जरूर है लेकिन खूबसूरत है। जलरंगों में किसी भी विषय-वस्तु पर काम किया जा सकता है। यह रंग गहरे से हल्के की तरफ जाते हैं और दृश्यों का सृजन करते हैं।
आर्ट मार्ट की समन्वयक एवं चित्रकार प्रीता गडकरी ने बताया कि आर्ट मार्ट के जरिये जहां नए कलाकार सामने आए हैं वहीं एक नया दर्शक वर्ग भी इससे तैयार हो रहा है, जो इसकी बड़ी उपलब्धि कही जा सकती है। इस बार 550 समूहों ने आर्ट मार्ट के लिए आवेदन किया था, जिनमें से 35 बेहतरीन समूहों को जगह मिली। इन समूहों की लगभग 950 कलाकृतियां लगाई गईं है।
आर्ट मार्ट में ही सेरेमिक और पॉटरीज कला पर केंद्रित प्रदर्शनी- समष्टि भी अनूठी है। इसमें भी देश के कलाकारों की कलाकृतियां प्रदर्शित की गईं हैं। सेरेमिक के कलाकार समारोह में लाइव डेमो भी दे रहे हैं, जो दर्शकों के लिए अनूठा अनुभव है। समष्टि में सेरेमिक से बनी पारम्परिक कलाकृतियों के साथ समकालीन कलाकृतियां भी लोगों को लुभा रही हैं।
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