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मुंबई में ऑटो चलाकर जीवन यापन करने वाले 50 वर्षीय कमलेश का जीवन मंगलवार को उस वक्त संकट में आ गया जब वह प्रयागराज से मुंबई जाने वाली तुलसी एक्सप्रेस के नीचे आने से बाल-बाल बच गए। यात्री कमलेश भोपाल रेलवे स्टेशन पर पीने का पानी भरने के लिए उतरे थे। तभी ट्रेन प्लेटफार्म से चलने लगी। हड़बड़ी में कमलेश अपने एस-5 डिब्बे में चढऩे का प्रयास करने लगे इस दौरान उनका पैर फिसल गया और वह प्लेटफार्म एवं डिब्बे के नीचे आने लगे। मौके पर पेट्रोलिंग कर रहे आरपीएफ के जवान रविंद्र की नजर इस घटना पर पड़ी और उसने दौड़कर कमलेश का हाथ पकड़ लिया। ट्रेन के नीचे 50 सेकंड तक कमलेश सिंह जीवन और मौत के बीच झूलते रहे। आरपीएफ के जवान रविंद्र ने जैसे-तैसे उन्हें खींचकर बाहर निकाना। यात्री कमलेश ने बताया कि वह पानी लेने उतरे थे, ट्रेन में चढऩे में देरी कर दी थी। जब ट्रेन चलने लगी तो बोतल लेकर चढऩे की कोशिश की थी। कोच के हैंडल पकड़ लिए थे लेकिन पैर फिसल गया। संभलने का मौका ही नहीं मिला, क्योंकि गेट पर खड़े यात्री अंदर जाने का रास्ता नहीं दे रहे थे। यात्री का कहना है कि ट्रेन में बहुत भीड़ थी, इसके कारण वह पानी भरने के लिए उतरने में भी लेट हो गए थे। रानी कमलापति, स्टेशन पर कमलेश की जान निकलते निकलते बची , रेलवे पुलिस ने रविंद्र को सम्मानित करने का निर्णय लिया है।
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