भोपाल। सीहोर सामान्य वन मंडल क्षेत्र की वीरपुर रेंज में देखी गई बाघिन के पैर से लोहे के तार का फंदा निकल गया है। हालांकि बाघिन के पैर में फंदे के कारण हुआ घाव काफी गहरा है, जिसे देखते हुए विभाग द्वारा अभी भी बाघिन की सर्च की जा रही है, ताकि उसे पकड़कर उसका उपचार किया जा सके।
विगत दिनों एक बाघिन भोपाल वन मंडल के भानपुर-केकड़िया गांव के जंगल में शिकारियों द्वारा लगाए गए फंदे में फंसने से घायल हो गई थी। तार का यह फंदा बाघिन के पैर में कस गया था, जिसके कारण उसके पैर में घाव हो गया था। इस बाघिन को घायल अवस्था में 22 दिसम्बर को सीहोर सामान्य वन मंडल क्षेत्र की वीरपुर रेंज में देखा गया था। जिसके बाद 23 दिसम्बर को विभाग के 28 कर्मचारियों ने सतपुड़ा टाइगर रिजर्व से बुलाए गए दो हाथियों की मदद से घायल बाघिन की तलाश शुरू की, लेकिन इसमें कामयाबी नहीं मिल सकी थी। इसके बाद 25-26 दिसम्बर को मिले कैमरा ट्रैप से वन अधिकारियों को थोड़ी मिली है। इन कैमरा ट्रैप में बाघिन के जो फोटो कैप्चर किए गए हैं, उसमें उसके पैर में फंसा हुआ तार का फंदा दिखाई नहीं दे रहा है। वन्य प्राणी संरक्षण मुख्यालय के सूत्रों का कहना है कि पैर से फंदा निकलने के बाद अब बाघिन काफी हद तक खतरे से बाहर हो चुकी है। फिर भी चूंकि उसके पैर का घाव गहरा था, इसलिए बाघिन की खोजबीन जारी है। विभाग के कर्मचारी लगातार उसे सर्च कर रहे हैं, ताकि उसके स्वास्थ्य पर नजर रखी जा सके।