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नर्मदापुर। प्रदेश में नई सरकार आने के बाद शनिवार को दूसरा बड़ा एक्शन लिया गया है। नर्मदापुरम में पहली बार रेत माफिया के अवैध निर्माण पर बुलडोजर चला और चार दुकानों को ढहा दिया गया। प्रशासन की टीम शनिवार सुबह करीब 6 बजे मेहराघाट पहुंची और आरोपियों के अवैध निर्माण को ढहा दिया। आरोपियों ने दो दिन पहले अफसरों पर पथराव किया था।
नर्मदापुरम का मामला प्रशासन की टीम पर हमले से संबंधित है। यहां 14 दिसंबर गुरुवार शाम करीब 5.30 बजे नायब तहसीलदार कीर्ति प्रधान जमीन का सीमांकन का काम पूरा कर लौट रही थीं। इसी दौरान उन्हें पांजरा गांव में रेत से भरा ट्रैक्टर दिखा। ट्रैक्टर ड्राइवर की नजर जैसे ही नायब तहसीलदार पर पड़ी, वह रेत से भरी ट्रॉली को अलग कर ट्रैक्टर लेकर भाग गया। रेत जब्त करने के लिए नायब तहसीलदार ने माइनिंग इंस्पेक्टर पिंकी चौहान, कृष्णा परस्ते और प्राइवेट ट्रैक्टर ड्राइवर छुट्टी गोस्वामी को मौके पर बुलाया। ड्राइवर छुट्टी ट्रॉली को ट्रैक्टर से जोड़ रहा था, तभी सोनू निमोदा और मयंक निमोदा वहां पहुंच गए और दोनों भाइयों ने पथराव शुरू कर दिया। पत्थर लगने से छुट्टी का सिर फूट गया। अफसरों को जान बचाकर भागना पड़ा। उन्होंने छुट्टी को अस्पताल में भर्ती कराया। डॉक्टरों ने बताया कि उसके ब्रेन में सूजन है। शुक्रवार को नायब तहसीलदार ने आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई।
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