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नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने ''एक देश, एक चुनाव'' के विचार को अमली जामा पहनाने के लिए पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया है।
भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शुक्रवार को पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से उनके आवास पर मुलाकात की।
सूत्रों के मुताबिक ''एक देश, एक चुनाव'' के मुद्दे पर बनाई गई यह समिति इस संबंध में विधेयक लाने पर अपनी सिफारिश देगी। इससे पहले संसद की स्थाई समिति, लॉ कमीशन और नीति आयोग इस पर विचार कर अपनी रिपोर्ट दे चुके हैं।
संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि अभी केवल एक समिति का गठन किया गया है। अभी से इसको लेकर घबराहट क्यों है। उन्होंने कहा कि समिति अपनी सिफारिश सौंपेगी। इसे जनता के विचार के लिए रखा जाएगा। संभव होगा तो इस संबंध में संसद विचार करेगी। देश में 1967 तक विधानसभा और लोकसभा के चुनाव एक साथ होते रहे हैं। इससे संसाधनों की भी बचत होती है और सरकारों को भी ठीक से कम करने का अवसर मिलता है।
उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने 18 सितंबर से 22 सितंबर तक संसद का एक विशेष सत्र बुलाया है। इसका एजेंडा अभी तक सरकार की ओर से स्पष्ट नहीं किया गया है।
विशेष सत्र के एजेंडे के बारे में पूछने पर पत्रकारों से बातचीत में प्रहलाद जोशी ने कहा कि अगले तीन या चार दिनों में इसको लेकर स्थिति स्पष्ट कर दी जाएगी। अभी इस पर काम चल रहा है।
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